Gold-Silver Prices – सोने और चांदी के बाजार में इस समय काफी उतार-चढ़ाव देखने को मिल रहा है, जिससे निवेशकों में उत्सुकता बनी हुई है। 18 दिसंबर को सोने-चांदी के दामों में हल्की गिरावट दर्ज की गई है, जिसका मुख्य कारण अंतरराष्ट्रीय स्तर पर डॉलर की मजबूती और बॉन्ड यील्ड में बढ़ोतरी मानी जा रही है। घरेलू बाजार में 24 कैरेट गोल्ड की कीमतों में थोड़ी नरमी आई है, जबकि 22 कैरेट गोल्ड में भी मामूली गिरावट दर्ज की गई है। चांदी के दामों में भी कमजोरी देखने को मिली, जिससे ज्वेलरी कारोबारियों और निवेशकों दोनों में सतर्कता का माहौल है। विशेषज्ञों का मानना है कि आने वाले दिनों में फेडरल रिजर्व और वैश्विक आर्थिक संकेतकों के आधार पर कीमतों में और उतार-चढ़ाव संभव है। ऐसे में निवेशकों के लिए ये सही समय है कि वे बाजार की स्थिति को समझते हुए सही रणनीति अपनाएं।

18 दिसंबर को सोने की नवीनतम कीमतें
18 दिसंबर के दिन सोने की कीमतों में हल्की गिरावट दर्ज की गई, जिसके चलते निवेशकों की निगाहें मार्केट पर टिकी हुई हैं। 24 कैरेट गोल्ड की कीमतों में इंटरनेशनल मार्केट में आई कमजोरी का सीधा असर भारतीय बाजार पर पड़ा है। ज्वेलरी शॉप्स में आज 10 ग्राम 24 कैरेट सोना पिछले दिनों की तुलना में कुछ रुपए सस्ता दर्ज किया गया। वहीं 22 कैरेट सोने के दामों में भी मामूली गिरावट देखने को मिली, जिससे शादी-विवाह के सीजन में खरीदारी करने वाले ग्राहकों को थोड़ी राहत मिली है। विशेषज्ञों का कहना है कि सोने की कीमतों में यह गिरावट अस्थायी है और वैश्विक आर्थिक स्थिति में कोई बड़ा बदलाव आने पर ये कीमतें एक बार फिर ऊपर जा सकती हैं। निवेशकों को सलाह दी जा रही है कि किसी भी बड़े निवेश से पहले बाजार रुझानों का मूल्यांकन अवश्य करें।
चांदी के दाम में गिरावट के कारण
आज चांदी के दामों में भी गिरावट दर्ज की गई है, जिससे सिल्वर मार्केट में एक ठहराव सा नजर आ रहा है। इंटरनेशनल मार्केट में मेटल्स पर दबाव बढ़ने के चलते चांदी की कीमतों पर भी असर पड़ा है। घरेलू बाजार में चांदी की प्रति किलो कीमत हाल के दिनों की तुलना में कुछ सौ रुपए नीचे आ गई है, जिससे छोटे निवेशकों और ज्वेलरी व्यवसायियों को थोड़ी राहत मिली है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि चांदी की कीमतें इंडस्ट्रियल डिमांड पर काफी निर्भर रहती हैं, और वर्तमान में ग्लोबल इंडस्ट्रियल एक्टिविटी में थोड़ी सुस्ती देखी जा रही है। हालांकि, लंबे समय के हिसाब से चांदी अभी भी एक मजबूत निवेश विकल्प माना जा रहा है और विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि गिरावट के समय खरीदारी निवेशकों के लिए लाभकारी साबित हो सकती है।
एक्सपर्ट की राय: आगे क्या बढ़ेंगे दाम?
बाजार के विशेषज्ञों का मानना है कि सोने-चांदी की मौजूदा गिरावट अल्पकालिक है और आने वाले कुछ हफ्तों में अंतरराष्ट्रीय आर्थिक संकेतकों के बदलने पर कीमतें फिर उछाल पकड़ सकती हैं। डॉलर इंडेक्स में उतार-चढ़ाव, कच्चे तेल की कीमतें और फेडरल रिजर्व की आगामी पॉलिसी इस दिशा में अहम भूमिका निभाएंगी। विशेषज्ञों का अनुमान है कि जनवरी के शुरुआती दिनों में जब वैश्विक बाजारों में स्थिरता लौटेगी, तब सोने-चांदी के दाम एक बार फिर ऊपर की ओर रुख कर सकते हैं।
निवेशकों के लिए क्या है सलाह?
मौजूदा स्थिति को देखते हुए विशेषज्ञों का कहना है कि निवेशकों को एक संतुलित रणनीति अपनानी चाहिए। सोने-चांदी जैसे कीमती धातु हमेशा सुरक्षित निवेश विकल्प माने जाते हैं, लेकिन मौजूदा गिरावट निवेशकों को एक अवसर भी प्रदान कर रही है कि वे कम दामों पर खरीदारी कर सकें। हालांकि, किसी भी बड़े निवेश से पहले मार्केट एनालिसिस और वित्तीय सलाह लेना जरूरी है।
